लखनऊ। भारतीय खेलों को बढ़ावा देने में अग्रणी भूमिका निभाने वाले सहारा इंडिया परिवार के संस्थापक सुब्रत रॉय का मंगलवार को मुंबई में लंबी बीमारी के बाद निधन हो गया। उनके निधन के बाद उत्तर प्रदेश ओलंपिक संघ सहित प्रदेश के तमाम खेल संघों ने शोक संवेदना जताई।
महासचिव डा. आनन्देश्वर पाण्डेय ने अपने शोक संदेश में कहा कि सुब्रत राय सहारा का जीवन खेलों के प्रति समर्पण का एक उदाहरण है। उनका खेल व खिलाड़ियों से लगाव सभी जानते है और उन्होंने खेल कल्चर को प्रोत्साहित करने के लिए लगातार अनुकरणीय कार्य किये। मेरा उनसे 40 साल से अधिक का परिचय रहा है।
उन्होंने काफी समय पहले ही भारतीय खेलों की दशा बदलने का संकल्प लिया था और 1991 में खेलो यात्रा का भी आयोजन किया था। उन्होंने राष्ट्रमंडल खेल – 2010 के आयोजन में महत्वपूर्ण सहयोग किया और लखनऊ में क्वींस बैटन रिले का भी भव्य स्वागत किया।
उत्तर प्रदेश ओलंपिक संघ के अध्यक्ष विराज सागर दास ने भी शोक संवेदना जताते हुए कहा कि सुब्रत राय खेलों के प्रमोशन के लिए हर समय तैयार रहते थे।
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इसके साथ उत्तर प्रदेश बैडमिंटन संघ के अध्यक्ष डा.नवनीत सहगल (सेवानिवृत्त आईएएस), उत्तर प्रदेश बैडमिंटन संघ के सचिव डा.सुधर्मा सिंह, उत्तर प्रदेश ओलंपिक संघ के कोषाध्यक्ष डा.सैयद रफत जुबैर रिजवी, उत्तर प्रदेश वुशू संघ के महासचिव मनीष कक्कड़, कराटे एसोसिएशन ऑफ यूपी के अध्यक्ष टीपी हवेलिया व सचिव जसपाल सिंह, यूपी रोइंग एसोसिएशन के सचिव सुधीर शर्मा सहित कई खेल संघों के पदाधिकारियों ने भी सुब्रत राय सहारा के निधन पर शोक संवेदना प्रकट की।
बताते चले कि सुब्रत सहारा ने क्रिकेट के साथ भारतीय हॉकी को संवारने की महत्वपूर्ण पहल की और हॉकी की सभी टीमों को प्रायोजित किया। इसके अलावा भी सभी खेलों को बढ़ावा देने में वो सबसे आगे रहे। यहीं नहीं जब भी कोई खिलाड़ी देश के लिए पदक जीतता तो सहारा इंडिया परिवार उसे नगद पुरस्कार प्रदान कर सम्मानित करता था।