योगी सरकार का बड़ा निर्णय, आईसीयू एक्सपर्ट से लैस होंगे सरकारी अस्पताल

0
91

लखनऊ : गंभीर मरीजों की जान बचाने के लिए मरीजों को इंटेंसिव केयर की आवश्यकता होती है इसीलिए सभी अस्पतालों में इंटेंसिव केयर यूनिट (आईसीयू) की स्थापना की जाती है।

उत्तर प्रदेश के सरकारी अस्पतालों में भी आईसीयू की व्यवस्था है, जिसे योगी सरकार अब और अधिक सुदृढ़ करने जा रही है। इसके लिए आईसीयू विशेषज्ञों को प्रशिक्षित किया जा रहा है।

जिला अस्पताल के आईसीयू को सुदृढ़ करने के लिए उठाया कदम स्वास्थ विभाग की अनूठी पहल

इन्हे केयर-अप (क्रिटिकल केयर एडवांसमेंट एंड रेडीनेस एन्हांसमेंट फॉर अपकमिंग आईसीयू प्रोफेशनल्स) कार्यक्रम के तहत प्रशिक्षित किया जा रहा है। इसके तहत झांसी में एक बैच का प्रशिक्षण पूरा हो चुका है जबकि दूसरा बैच चल रहा है। ट्रेनिंग पाने वालों में चिकित्सकों के अलावा नर्स व लैब टेक्नीशियन भी शामिल हैं।

प्रमुख सचिव स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा पार्थ सारथी सेन शर्मा ने बताया कि प्रदेश के सभी जिला अस्पतालों में इंटेंसिव केयर यूनिट (आईसीयू) हैं लेकिन प्रशिक्षित स्टाफ की कमी के कारण गंभीर मरीजों को रेफर करना पड़ता है।

स्वास्थ्य विभाग की ओर से पहले चरण में लखनऊ और झांसी के डाॅक्टर्स को दिया गया प्रशिक्षण

आईसीयू में वेंटिलेटर व ऑक्सीजन की सुविधा मौजूद होने के बावजूद प्रशिक्षित स्टाफ की कमी के कारण उनका सम्पूर्ण इस्तेमाल नहीं हो पाता है।

योगी सरकार ने इस बाधा को समझा और गंभीर कदम उठाते हुए सभी जिला अस्पतालों के कुछ डाक्टरों व पैरामेडिकल स्टाफ को प्रशिक्षित करने का निर्णय लिया।

एमएलबी के प्रोफेसर को सौंपी गयी प्रशिक्षण की जिम्मेदारी

योगी सरकार ने इसकी जिम्मेदारी महारानी लक्ष्मी बाई (एमएलबी) मेडिकल काॅलेज, झांसी के एनेस्थीसिया विभागाध्यक्ष प्रोफेसर अंशुल जैन को दी है। वह एमएलबी पैरामेडिकल काॅलेज के निदेशक भी हैं।

ये भी पढ़े : सभी अपने आसपास की सड़कों, गली, कूचों की सफाई का लें संकल्प : एके शर्मा

ये भी पढ़ें : मोटो जीपी के इंटरनेशनल वेन्यू पर भी प्रमोट होगा ‘ब्रांड यूपी’, बिजनेस कॉन्क्लेव बनेगा माध्यम

ये भी पढ़े : योगी सरकार की पहल, अब इसरो की सैर करेंगे अटल आवासीय विद्यालयों के छात्र

डॉ. अंशुल ने बताया कि पहले बैच में लखनऊ के सिविल अस्पताल के फिजिशियन डॉ. अभिषेक कुमार सिंह समेत 10 स्टाफ नर्स व लैब टेक्नीशियन, लोकबंधु अस्पताल के डॉ. दीपक कुमार मौर्य समेत पांच स्टाफ और झांसी जिला अस्पताल के स्टाफ ने प्रशिक्षण प्राप्त किया है।

गोरखपुर, प्रयागराज एवं बांदा जिला अस्पताल के स्टाफ को दूसरे चरण के तहत दी जा रही ट्रेनिंग

अब तीनों अस्पतालों की आईसीयू पूर्ण रूप से सक्रिय हैं और वे गंभीर मरीजों का इलाज कर रहे हैं। परिवार कल्याण के डीजी डॉ. नरेंद्र अग्रवाल ने बताया कि दूसरे बैच में गोरखपुर, बांदा और प्रयागराज जिला अस्पताल के डाक्टरों की ट्रेनिंग चल रही है।

डॉक्टर्स संग पैरामेडिकल स्टाफ को वेंटीलेटर के संचालन में किया जा रहा प्रशिक्षित

इसी तरह बाकी जिला अस्पताल के डाॅक्टरों को भी बारी-बारी से आईसीयू ऑपरेशन के बारे में प्रशिक्षित किया जाएगा।अगले साल के अंत तक सभी आईसीयू पूर्ण रूप से सक्रिय हो जाएंगे।

हमारी कोशिश है कि अधिक से अधिक डॉक्टर, नर्स और पैरामेडिकल स्टाफ को वेंटीलेटर एवं अन्य आधुनिक चिकित्सा उपकरणों के सफल उपयोग में पारंगत कर सकें ताकि प्रदेश की जनता को इसका लाभ मिल सके। उनको बेहतर चिकित्सा स्वास्थ्य सेवा मिले और उनपर वित्तीय बोझ कम हो सके।

प्रशिक्षण से बहुत लाभ मिला है। लोकबंधु अस्पताल में 11 बेड का आईसीयू शुरू किया गया है। बीते एक महीने में 150 से अधिक मरीजों को यहां भर्ती कर इलाज किया गया है। अब प्रशिक्षित स्टाफ वेंटीलेटर व अन्य उपकरण चला रहे हैं और मरीजों को यहां सुचारू इलाज मिल रहा है।

-डॉ. दीपक कुमार मौर्या, आईसीयू इंचार्ज, लोकबंधु अस्पताल

प्रशिक्षण में गए सभी स्टाफ को बहुत फायदा मिला है। स्टाफ नर्स वेंटीलेटर व अन्य उपकरण अब चला रही हैं जिसका लाभ मरीजों को मिल रहा है। इसी वजह से सिविल अस्पताल के आईसीयू में बीते एक महीने में मरीजों की संख्या बढ़ी है।

-डॉ. अभिषेक सिंह, आईसीयू इंचार्ज, सिविल अस्पताल

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here