लखनऊ : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की सोच हमारा लक्ष्य है और उनका विजन ही हमारा मिशन। जल जीवन मिशन को यूपी की राज्य सरकार गति देने का कार्य कर रही है। हम प्रत्येक दिन 40 हजार से अधिक ग्रामीण परिवारों को नल कनेक्शन दे रहे हैं। योजना से जहां एक तरफ नल कनेक्शन दिये जा रहे हैं वहीं महिलाएं स्वावलंबी बन रही हैं।
जलशक्ति मंत्री ने राज्य स्तरीय रैपिड एक्शन लर्निंग कार्यशाला का किया शुभारंभ
योजना से युवाओं को रोजगार के अवसर भी मिल रहे हैं। यह बातें गुरुवार को जल शक्ति मंत्री स्वतंत्र देव सिंह ने गोमतीनगर स्थित एक होटल में कहीं।
वे यहां पर राज्य पेयजल एवं स्वच्छता मिशन और यूनाइटेड नेशन्स ऑफिस फॉर प्रोजेक्ट सर्विस (यूनॉप्स) के संयुक्त तत्वाधान में दो दिवसीय राज्य स्तरीय रैपिड एक्शन लर्निंग कार्यशाला का शुभारंभ करने पहुंचे थे।
बतौर मुख्य अतिथि उन्होंने दीप प्रज्जवलन कर कार्यशाला की शुरूआत की। विभाग के अधिशासी निदेशक बृजराज सिंह यादव और यूनॉप्स के इंडिया हेड विनोद मिश्र ने पुष्पगुच्छ, अंगवस्त्र और मोमेंटों देकर जल शक्ति मंत्री का स्वागत किया।
अन्य राज्यों के प्रतिनिधियों से साझा होगी जल जीवन मिशन की कार्ययोजना व रणनीति
जल शक्ति मंत्री ने देश भर से आए प्रतिभागियों को यूपी में जल जीवन मिशन की उपलब्धियों से अवगत कराया। उन्होंने कहा कि योजना से प्रत्येक ग्रामीण परिवार तक नल से स्वच्छ पेयजल पहुंचने से न केवल ग्रामीण आबादी के स्वास्थ्य में सुधार हुआ है बल्कि उनका सामाजिक-आर्थिक स्तर भी बेहतर हो रहा है।
उन्होंने कहा कि जल जीवन मिशन को सफल बनाने के लिए संस्थाएं आगे आ रहीं हैं और समर्पण भाव से काम कर रहीं हैं। यूपी में आने वाले कल को सुरक्षित रखते हुए कैसे विकास किया जाए इस दिशा में तेज गति से कार्य किया जा रहा है जो सराहनीय है।
इस कार्यशाला से यूपी में जल जीवन मिशन के चल रहे कार्यों को गति मिलेगी। उन्होंने कहा कि जल जीवन मिशन की घोषणा के समय जहां यूपी में मात्र 5 लाख (1.97 प्रतिशत) घरों में नल कनेक्शन थे। वहीं पिछले लगभग 4 वर्षों में अब तक हम 1 करोड़ 47 लाख से अधिक ग्रामीण परिवारों तक नल कनेक्शन पहुंचा चुके हैं।
नई उपलब्धियों के साथ योजना को देश में नंबर वन बनाना लक्ष्य
जल शक्ति मंत्री ने कहा कि राज्य में जल जीवन मिशन के लक्ष्यों की प्राप्ति के लिए हर घर जल योजना आंदोलन का रूप ले चुकी है। नई-नई उपलब्धियों के साथ योजना को देश में नम्बर एक पर ले जाना है।
योजनाबद्ध तरीके से काम करेंगे तो 2024 तक ग्रामीण परिवारों को नल कनेक्शन उपलब्ध करा पाएंगे। योजना को जमीनी स्तर पर चल रहे कार्यों की गुणवत्ता और स्थिरता सुनिश्चित करने के लिए नए दृष्टिकोण, तकनीक और तरीकों को क्रियान्वित किया जा रहा है।
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दो दिवसीय कार्यशाला में प्रतिभागियों को यूपी में जल जीवन मिशन के कार्यों, शत प्रतिशत सर्टिफाइड गांवों, एफटीके व तकीनीकी प्रशिक्षण की जानकारी मिलेगी।
महिलाओं व युवाओं को मिलने वाले रोजगार, पानी समिति के कार्यों समेत बुंदेलखंड व विंध्य जैसे जनपदों में स्वच्छ पेयजल की आपूर्ति सुनिश्चित करने की रणनीति व कार्ययोजना के बारे में चर्चा होगी। गांव-गांव में किस तरह से योजना को मूर्तरूप दिया जा रहा है।
इसपर भी प्रतिभागी अपने-अपने अनुभवों को एक-दूसरे से साझा करेंगे। इस पूरी कार्यशाला के अनुभवों व जानकारी को देश ही नहीं विदेशों में भी लेखों व वेबसाइट के माध्यम से प्रचारित किया जाएगा।