लखनऊ। सीएसआईआर-सीमैप, लखनऊ में चल रहे 10 दिवसीय किसान मेले के तीसरे दिन किसान मेला के संचालक डॉ. संजय कुमार ने किसान मेला-2022 में विभिन्न राज्यों से आए हुए कृषकों व अतिथियों का स्वागत किया एवं कहा कि कोविड-19 महामारी के चलते किसानों को पूर्व पंजीकरण के द्वारा केवल 100 किसानों को ही किसान मेले में आने का मौका मिला ।
उन्होने किसान मेले में होने वाली प्रमुख गतिविधियों के बारें बताया। आज की किसान गोष्ठी में डॉ. बिरेन्द्र कुमार (मुख्य वैज्ञानिक, सीएसआईआर-सीमैप) ने किसानों को मेंथा पिपरेटा की उन्नत कृषि तकनीकी को किसानों से साझा की । डॉ. अनिल कुमार सिंह (तकनीकी अधिकारी) ने जापानी पुदीना की उन्नत कृषि तकनीकी पर प्रकाश डाला ।
डॉ. संतोष केदार, वैज्ञानिक सीएसआईआर-सीमैप ने औषधीय एवं सुगंधित पौधों को हानि पहुंचाने वाले कीटों का नियंत्रण कैसे किया जाये की जानकारी किसानों से साझा की । श्री राम लखन, तकनीकी अधिकारी, सीएसआईआर-सीमैप सगंधीय के आसवन विधियों व सावधानियों के बारे में अवगत कराया ।
सवाल-जवाब सत्र में उपस्थित डॉ. सौदान सिंह, मुख्य वैज्ञानिक, डॉ. वी. आर. सिंह, मुख्य वैज्ञानिक, डॉ. बिरेन्द्र कुमार, मुख्य वैज्ञानिक, डॉ. राजेश कुमार वर्मा, प्रधान वैज्ञानिक, डॉ. राम सुरेश शर्मा, वरिष्ठ वैज्ञानिक, डॉ. ऋषिकेश एन. भिसे, वैज्ञानिक, डॉ. संतोष कुमार केदार, वैज्ञानिक, डॉ. आनंद कुमार टीएम, डॉ. अनिल कुमार सिंह, तकनीकी अधिकारी ने किसानों के सवालों के जवाब प्रस्तुत किए।
किसान मेला में मेंथा, जिरेनियम, तुलसी तथा अन्य औषधीय एवं सगंधीय पौधों की पौध सामग्री की खरीदी किसानों ने की । अगेती मेंथा तकनीकी व अन्य औषधीय एवं सगंध पौधों के रोपण विधियों व उनके आसवन विधियों का सजीव प्रदर्शन किसानों को कराया गया । तीसरे दिन कार्यक्रम का संचालन तथा आभार प्रदर्शन डॉ. ऋषिकेश ने किया ।