भारत के पहले फील्ड मार्शल सैम मानेकशॉ और इंडियन आर्मी के शौर्य को समर्पित है विक्की कौशल की सैम बहादुर, रक्षा मंत्रालय की ओर से फिल्म की शूटिंग में काफी मदद मिली।
यह मदद आउट ऑफ द बॉक्स थी। मेकर्स को सैम मानेकशॉ के समकालीन अफसरों से भी काफी इनपुट मिले। फिल्म में मेन प्लॉट तो 1971 में इंडो-पाक वॉर का है, मेकर्स ने इसे एक वॉर फिल्म तक सीमित नहीं रखा।
इसे बारे में फिल्म से जुड़े सूत्रों ने बताया, ‘देश में उन दिनों पॉलिटेक्निक और मिलिट्री पॉवर के लिहाज से अलग हालात थे। युद्ध जैसे हालात में दुनिया का प्रेशर अलग होता था। एक नॉर्मल थिंकिंग यह होती थी कि सैनिक तो जंग में शहीद होने के लिए ही बने हैं पर सैम मानेकशॉ ने उस परसेप्शन को बदला।
जिन मोर्चों पर तब भारत लड़खड़ा रहा था, आर्मी किस तरह स्ट्रॉन्ग सपोर्ट बनकर उभरती थी। वह भी फिल्म के सबप्लॉट में दिखाया जाएगा। इंडिया की पोजिशनिंग मजबूत करने को लेकर सैम मानेकशॉ की क्या दूरदर्शिता थी, वह भी फिल्म में दिखाई जाएगी। इस तरह यह एक टिपिकल वॉर फिल्म नहीं है।
शूटिंग से जुड़ी डिटेल्स शेयर करते हुए सूत्रों ने बताया, ‘फिल्म मेकर्स ने उस किले में भी शूटिंग की जहां कभी किसी जमाने में सैम मानेकशॉ का ऑफिस हुआ करता था।
सैम मानेकशॉ अपने कार्यकाल में जहां-जहां पोस्टेड रहे, टीम वहां -वहां शूट करने गई। कुल मिलाकर इस फिल्म की शूटिंग देश के 16 शहरों में की गई। इसकी शूटिंग कुल 110 दिनों में पूरी की गई।
फिल्म में जो इंडिया-पाकिस्तान का वॉर वाला हिस्सा था, उसके लिए कोलकाता में ही मेकर्स को एक जगह मिल गई थी, वहां पर इस सीक्वेंस को शूट किया गया।
सैम मानेकशॉ की कैरेक्टर की स्किन में जाने के लिए विक्की को 6 महीने दिए। इसके लिए विक्की सैम मानेकशॉ के रिश्तेदारों के अलावा उनके समकक्ष अफसरों से भी मिले।
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आर्मी ने मेकर्स को फिल्म में कई और अहम चीजों में भी मदद की। सूत्रों के अनुसार, आर्मी अफसर भी इस बात को लेकर खुश हैं कि जिस शख्स ने भारत को ऐतिहासिक जीत दिलाई, उसके बारे में तथ्यात्मक तौर पर सही जानकारी दर्शकों को पर्दे पर देखने को मिलेगी। मेघना गुलजार निर्देशित यह फिल्म 1 दिसंबर को सिनेमाघरों में रिलीज होगी।
सैम बहादुर शूटिंग लोकेशंस
- देहरादून मिलिट्री एकेडमी में।
- देश के कई डिफेंस सर्विसेज स्टाफ कॉलेज (DSC) कैम्पस में।
- वेलिंगटन के DSSC कैम्पस में फिल्माया गया।
- कोलकाता के फोर्ट विलियम में शूटिंग की परमिशन।
- ऊटी के DSSC कैम्पस के अलावा वहां के आर्मी कैंटोनमेंट में भी फिल्म का शूट।
- पटियाला कैंट सहित कई और शहरों के कैंट एरिया में भी शूट।
- मुंबई के फिल्म सिटी में भी कुछ वॉर सीन क्रिएट करके शूट।