लखनऊ: मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने प्रदेशवासियों को आपदा (बाढ़, सूखा, भूकंप, आकाशीय बिजली) के दौरान जल्द से जल्द राहत पहुंचाने एवं जनहानि को रोकने के लिए पिछले साढ़े छह वर्ष में कई महत्वपूर्ण कदम उठाए हैं।
सीएम योगी का निर्देश, प्रदेश में आपदाओं से निपटना और जनहानि न्यूनतम करना उद्देश्य
इसी क्रम में योगी सरकार की ओर से आपदाओं से निपटने और इसके उचित प्रबंधन मेें निपुण बनाने के लिए विभाग के एक चार सदस्यीय दल को दो दिवसीय प्रशिक्षण के लिए गुजरात भेजा गया है।
यहां गुजरात इंस्टीट्यूट ऑफ डिजास्टर मैनेजमेंट के विशेषज्ञ राहत विभाग के चार सदस्यीय दल को 12 और 13 फरवरी को विभिन्न सत्र में आपदाओं से निपटने और उससे पहले तैयार रहने के गुर सीखेंगे। अपर मुख्य सचिव राजस्व सुधीर गर्ग ने बताया कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ का आपदाओं से होने वाली जनहानि को न्यूनतम करने पर खासा फोकस है।
आपदाओं से होने वाली जनहानि को न्यूनतम करने में अपनी अहम भूमिका निभाएगा दल
इसी के तहत मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने विभाग के अधिकारियों और कर्मचारियों को आपदा के उचित प्रबंधन के गुर सीखने और प्रशिक्षण दिलाने के लिए विभिन्न चरण में विभिन्न कार्यक्रम आयोजित करने के निर्देश दिये थे।
ऐसे में हाल में ही सीएम योगी की मंशा के अनुरूप लखनऊ में 6 और 7 फरवरी को आईआईएम लखनऊ में प्रदेश के 25 अपर जिलाधिकारियों के लिए प्रशिक्षण शिविर का आयोजन किया था। यहां पर आईआईएम लखनऊ समेत विभिन्न संस्थानों के विशेषज्ञों ने अपर जिलाधिकारियों को जलवायु परिवर्तन, संवेदनशीलता और अापदा प्रबंधन का प्रशिक्षण दिया था।
इंस्टीट्यूट के विशेषज्ञ जलवायु परिवर्तन, संवेदनशीलता और आपदा प्रबंधन का दे रहे प्रशिक्षण
इसके बाद 11 फरवरी को विभाग के चार सदस्यीय दल को अापदा प्रबंधन के गुर सीखने के लिए गुजरात इंस्टीट्यूट ऑफ डिजास्टर मैनेजमेंट के लिए रवाना किया गया। दो दिवसीय (12 और 13 फरवरी) प्रशिक्षण शिविर में प्रतिभाग कर दल प्रदेश में बाढ़ समेत अन्य आपदाओं से होने वाली जनहानि को न्यूनतम करने में अपनी अहम भूमिका निभा सकेगा।
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मालूम हो कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देश पर प्रदेश में तीन नई राज्य आपदा मोचन बल (एसडीआरएफ) का गठन किया गया, जबकि प्रदेश की 11 आपदाओं को राज्य आपदा में शामिल किया गया।
इसमें नाव दुर्घटना, सर्पदंश, सीवर सफाई, गैस रिसाव, बोरवेल में गिरना, मानव वन्य जीव द्वन्द, नदी में डूबना समेत 11 आपदाएं शामिल हैं। वहीं प्रदेश में आपदाओं से बचाव व आम जनमानस को जागरुक करने के लिए ग्राम स्तर पर राहत चौपाल का आयोजन किया जा रहा है।